tag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post3148584687159735047..comments2023-10-21T21:19:28.543+05:30Comments on शकुनाखर: दुर्गोत्सव से जुड़ी बुराइयाँhem pandeyhttp://www.blogger.com/profile/08880733877178535586noreply@blogger.comBlogger27125tag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-51922359548385604722009-11-16T22:09:51.549+05:302009-11-16T22:09:51.549+05:30यही तो हमारे देश की विडंबना है की लोग धर्म के नाम ...यही तो हमारे देश की विडंबना है की लोग धर्म के नाम पर भी जेबे गर्म करने की ताक में रहते है..दुर्गा पूजा और रामलीला इसका बहुत बढ़िया उदाहरण है बढ़िया प्रसंग पर जब तक समाज के ठेकेदार ख़त्म नही होते यह प्रक्रिया निरंतर चलती रहेगी...विनोद कुमार पांडेयhttps://www.blogger.com/profile/17755015886999311114noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-26730152896339566112009-10-31T20:03:13.448+05:302009-10-31T20:03:13.448+05:30आपने जो जो बातें लिखी है वे और बढ्ती ही चली जा रही...आपने जो जो बातें लिखी है वे और बढ्ती ही चली जा रही है ,अब तो एक एक मोहल्ले मे दो दो झांकियां- किसी से कुछ कह भी तो नही सकतेBrijmohanShrivastavahttps://www.blogger.com/profile/04869873931974295648noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-59181249223511160022009-10-14T12:16:08.868+05:302009-10-14T12:16:08.868+05:30इन बुराइयों को दूर किया जाना चाहिए।
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डिस...इन बुराइयों को दूर किया जाना चाहिए।<br />----------<br /><a href="http://sb.samwaad.com/" rel="nofollow">डिस्कस लगाएं, सुरक्षित कमेंट पाएँ </a>Science Bloggers Associationhttps://www.blogger.com/profile/11209193571602615574noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-20727653846576966452009-10-08T10:37:04.608+05:302009-10-08T10:37:04.608+05:30आदरणीय हेम जी,
धार्मिक त्यौहारों पर बढ़ आये हुये ...आदरणीय हेम जी,<br /><br />धार्मिक त्यौहारों पर बढ़ आये हुये आड़म्बरों को बेनक़ाब कर चिंतन जगाते हुये आलेख में जिस बात अने दिल छू लिया :-<br /><br />" दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।यदि हम कन्या को पूज रहे हैं, तो हमारा कर्तव्य है कि अपने दैनिक जीवन में भी हम कन्या को यथोचित सम्मान दें। अन्यथा एक दिन की हमारी यह पूजा कोरा कर्मकांड और दिखावे की धार्मिकता। "<br /><br />यह हमार दुर्भाग्य ही है कि यत्र नारि पुज्यन्ते.... के भावों से भरे देश में देवि के प्राणस्वरूप में कन्या पूजी जाती हो उसी देश में गर्भस्थ कन्या शिशु की हत्या पहचानकर भ्रूणस्वरूप में ही कर दी जा रही है, राह चलते उठाकर चलती गाड़ी में बलात्कार कर देना शायद कोई नया शिगूफा/मनोरंजन का साधन बन रहा है वहां नवरात्रि में कन्या पूजन, भोजन आदि दिखावा ही कहा जा सकता है।<br /><br />बहुत अच्छा आलेख।<br /><br />सादर,<br /><br /><br />मुकेश कुमार तिवारीमुकेश कुमार तिवारीhttps://www.blogger.com/profile/04868053728201470542noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-69059093286668918192009-10-06T10:42:42.924+05:302009-10-06T10:42:42.924+05:30Aastha ke naam par vikriti phailane ka prayas nahi...Aastha ke naam par vikriti phailane ka prayas nahin hona chaiye.sandhyaguptahttps://www.blogger.com/profile/07094357890013539591noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-73806231999626547242009-10-05T18:00:55.646+05:302009-10-05T18:00:55.646+05:30हास्यास्पद लगता है जब साल के बाकी दिन तो चौराहों प...हास्यास्पद लगता है जब साल के बाकी दिन तो चौराहों पर कुकर्मों का नंगा नाच होता रहा हो और एक दिन या फिर चाँद दिन उन्हीं च्जौरहों पर धार्मिक आयोजन, क्या ये आयोजन हमारे कुकर्मों का गंगा मियाँ जैसी मान्यता के अनुरूप तर्पण कर सकते हैं........ मौज मस्ती के लिए है, मतलब साधने के लिए है, दिखावे की परंपरा निभाने के लिए तो मुझे कुछ भी नहीं कहना <br /><br />मैं लेख की सभी बैटन का पुरजोर समर्थन करता हूँ.<br /><br />चन्द्र मोहन गुप्त<br />जयपुर<br />www.cmgupta.blogspot.comMumukshh Ki Rachanainhttps://www.blogger.com/profile/11100744427595711291noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-24291813849042973392009-10-05T15:30:36.435+05:302009-10-05T15:30:36.435+05:30बात तो बहुत सही है !!! पर इसे अमल में लायें तब तो ...बात तो बहुत सही है !!! पर इसे अमल में लायें तब तो हो !!Murari Pareekhttps://www.blogger.com/profile/16625386303622227470noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-18793256582442875852009-10-05T14:40:57.396+05:302009-10-05T14:40:57.396+05:30हेम जी सही ध्यान आकर्षित कराया.....सच्चाई है दिखा...हेम जी सही ध्यान आकर्षित कराया.....सच्चाई है दिखावे या अंधविश्वास की आड़ में कब तक ?? Ria Sharmahttps://www.blogger.com/profile/07417119595865188451noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-38527164814894756232009-10-05T06:00:56.168+05:302009-10-05T06:00:56.168+05:30आपने बहुत बढ़िया और सठिक लिखा है ! मैं आपकी बातों ...आपने बहुत बढ़िया और सठिक लिखा है ! मैं आपकी बातों से पूरी तरह सहमत हूँ! विजयादशमी की हार्दिक शुभकामनायें !Urmihttps://www.blogger.com/profile/11444733179920713322noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-23070804191941712242009-10-03T18:21:50.105+05:302009-10-03T18:21:50.105+05:30bilkul sahi aisa hi hota hai....bilkul sahi aisa hi hota hai....mark raihttps://www.blogger.com/profile/11466538793942348029noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-8140953391868728362009-10-03T08:02:52.387+05:302009-10-03T08:02:52.387+05:30आपकी बातों से सहमत हूं---इन बुराइयों पर रोक लगनी च...आपकी बातों से सहमत हूं---इन बुराइयों पर रोक लगनी चाहिये।<br />पूनमपूनम श्रीवास्तवhttps://www.blogger.com/profile/09864127183201263925noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-55412095478428247782009-10-03T08:00:22.703+05:302009-10-03T08:00:22.703+05:30मैं भी आपकी बातों से पूरी तरह सहमत हुं---इन बुराइय...मैं भी आपकी बातों से पूरी तरह सहमत हुं---इन बुराइयों पर रोक लगनी चाहिये।<br />पूनमपूनम श्रीवास्तवhttps://www.blogger.com/profile/09864127183201263925noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-22046795719134120322009-10-02T21:08:04.045+05:302009-10-02T21:08:04.045+05:30दुर्गापूजा की कमियाँ तथा इसके उज्ज्वल पक्ष को प्रक...दुर्गापूजा की कमियाँ तथा इसके उज्ज्वल पक्ष को प्रकाशित कर आपने एक नेक काम किया है।<br />साधुवाद।देवेन्द्र पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/07466843806711544757noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-57019208939039983222009-10-01T15:12:40.462+05:302009-10-01T15:12:40.462+05:30विचारणीय आलेख है|
.यहाँ बेंगलोर में अष्टमी और नवम...विचारणीय आलेख है|<br /> .यहाँ बेंगलोर में अष्टमी और नवमी को बली कि प्रथा है जिसमे भूरे कद्दू कि बलि दी जाती है मेरा पहला अवसर ही था देखने का| सारे बाजार क्द्दुओ से भरे पडे थे घर घर में क्द्दुओ को लाल करके उन्हें काटकर दरवाजे के आजू बाजु सड़क के बीचों बीच रखा जाता है और दूसरे दिन वही कद्दू सारी सडको पर आ जाते है सब जगह गंदगी ही गंदगी दिखाई देती है |<br />आइ टी कि इस नगरी में बाहर से आने वाले लोग भी इस प्रथा को अपनाने लगे है \शोभना चौरेhttps://www.blogger.com/profile/03043712108344046108noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-81459633166195732142009-10-01T08:14:50.406+05:302009-10-01T08:14:50.406+05:30aapki hr baat se sehmat hooN
zaroorat hai jaagrukt...aapki hr baat se sehmat hooN<br />zaroorat hai jaagruktaa ki...<br />apne-apne adambar chhor kr apne <br />andar jhaankne ki . . .<br />bhivadan .<br />---MUFLIS---daanishhttps://www.blogger.com/profile/15771816049026571278noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-9639643638239891222009-09-30T22:03:52.590+05:302009-09-30T22:03:52.590+05:30aapki baat se poorntah sahmat hun.aapki baat se poorntah sahmat hun.Yogesh Verma Swapnhttps://www.blogger.com/profile/01456159788604681957noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-12686817094295965022009-09-30T09:41:03.942+05:302009-09-30T09:41:03.942+05:30दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।यदि हम ...दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।यदि हम कन्या को पूज रहे हैं, तो हमारा कर्तव्य है कि अपने दैनिक जीवन में भी हम कन्या को यथोचित सम्मान दें। अन्यथा एक दिन की हमारी यह पूजा कोरा कर्मकांड और दिखावे की धार्मिकता है. <br /><br />बिलकुल सही. विजयदशमी की बहुत बहुत बधाई!!Prem Farukhabadihttps://www.blogger.com/profile/05791813309191821457noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-42574861318475812742009-09-30T08:38:45.725+05:302009-09-30T08:38:45.725+05:30बन्धु, आपने तो मेरे विचारों को भाषा दे दी. पहली बा...बन्धु, आपने तो मेरे विचारों को भाषा दे दी. पहली बार आपके ब्लॉग पर आया और शुक्र है खाली हाथ नहीं लौटा हूँ. दरअसल, धर्म का कोई भी वह रूप, जो चौराहे पर आ जाये, समाज के लिए घातक होता है. दुर्गा पूजा, काली पूजा, सरस्वती पूजा, गणेशोत्सव, मुहर्रम, बारावफात आदि से जहाँ चंदा वसूली, ध्वनि प्रदूषण जैसे मामले उभरते हैं वहीं साम्प्रदायिक माहौल भी.....आपके लेखन से प्रार्थी प्रसन्न हुआ.सर्वत एम०https://www.blogger.com/profile/15168187397740783566noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-48374930450224911382009-09-29T13:27:27.174+05:302009-09-29T13:27:27.174+05:30दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।यदि हम ...दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।यदि हम कन्या को पूज रहे हैं, तो हमारा कर्तव्य है कि अपने दैनिक जीवन में भी हम कन्या को यथोचित सम्मान दें। अन्यथा एक दिन की हमारी यह पूजा कोरा कर्मकांड और दिखावे की धार्मिकता है.<br />....बिलकुल सहीरश्मि प्रभा...https://www.blogger.com/profile/14755956306255938813noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-72789729999759460222009-09-29T04:50:46.554+05:302009-09-29T04:50:46.554+05:30हेम जी प्रणाम ...... अपने सच लिखा है समय के साथ स...हेम जी प्रणाम ...... अपने सच लिखा है समय के साथ साथ कुछ न कुछ आडम्बर हर आयोजन में आ जाते हैं और जागरूक वाई है जो इनको समझ कर सुधार करता रहे ...... हमारे सभी त्योहारों में उनके मनाने के तरीकों में, उनकी श्रधा बनी रहे इस बात को सुनिश्चित करने के लिए सतत प्रयास होने चाहिए और हनारे समाज में ही होने चाहियें जिससे गरिमा बनी रहे ....... आपका लेख बहूत सामयिक है .....दिगम्बर नासवाhttps://www.blogger.com/profile/11793607017463281505noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-65221052401932218442009-09-28T21:20:21.294+05:302009-09-28T21:20:21.294+05:30आप ने बहुत सही गिनवाई आज की बुरईयां,जबरन चंदा बसुल...आप ने बहुत सही गिनवाई आज की बुरईयां,जबरन चंदा बसुलना, शोर शराबा, दिखावा, याता यात ठप... लडाई झगडे, बदमासी क्या कोई त्योहार ऎसे भी मनाया जाता है, लेकिन अब हमारे ज्यादा तर त्योहार ऎसे ही मनते है.<br />धन्यवाद<br />आप को ओर आप के परिवार को विजयदशमी की शुभकामनाएँ!राज भाटिय़ाhttps://www.blogger.com/profile/10550068457332160511noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-14606265345123531722009-09-28T21:16:35.718+05:302009-09-28T21:16:35.718+05:30हेम सर जी,
बिलकुल सही बात है, लेकिन लोगों को मना क...हेम सर जी,<br />बिलकुल सही बात है, लेकिन लोगों को मना करने पर उनका मिजाज़ देखा कीजिये जैसे कोई अधार्मिक बात कर दी हो |<br />सबसे बड़ी प्रॉब्लम मुझे तो लाउड स्पीकर कि लगती है, क्योंकि मैं इसका अच्छा भला भुगत भोगी हूँ | आजकल अत्यधिक शक्ति वाले डी जे स्पीकर्स भी प्रयोग किये जाते हैं उनका तो कहना ही क्या !!<br />हमारे यहाँ कोई हवन कराये, रामायण का पाठ कराये, रात्रि जागरण, या कोई भी बड़ा पूजा पाठ कार्ये हो लाउड स्पीकर के बिना तो कोई पूरा होने कि सोचता भी नहीं |<br />अब इनको कौन समझाए कि जब 500 या 1000 साल पहले लाउड स्पीकर नहीं था तब क्या धार्मिक कर्म-कांड नहीं होते थे या वो क्या अधूरे समझे जाते थे |<br />आजकल के पूजा उत्सवों और अम्युज़मेंट पार्कों या मेले में मुझे तो कोई फर्क ही नज़र नहीं आता, भीड़ इतनी कि भक्ति का भाव तो दूर दंगा फसाद होने कि पूरी-पूरी संभावना रहती है |Yogendra Singh Shekhawathttp://yssbrainrelease.blogspot.com/noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-78958737814265627622009-09-28T20:32:12.901+05:302009-09-28T20:32:12.901+05:30आपसे पूरी तरह सहमत हैं विजयदशमी की बहुत बहुत बधाईआपसे पूरी तरह सहमत हैं विजयदशमी की बहुत बहुत बधाईनिर्मला कपिलाhttps://www.blogger.com/profile/11155122415530356473noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-87881178159439858412009-09-28T20:17:36.624+05:302009-09-28T20:17:36.624+05:30"दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।य..."<b>दुर्गोत्सव का सबसे उजला पक्ष कन्या पूजन है।यदि हम कन्या को पूज रहे हैं, तो हमारा कर्तव्य है कि अपने दैनिक जीवन में भी हम कन्या को यथोचित सम्मान दें।</b>"<br />पूर्ण सहमति! विजयदशमी की हार्दिक शुभकामनाएँ!Smart Indianhttps://www.blogger.com/profile/11400222466406727149noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-7425631154082837432.post-20080590809364970822009-09-28T18:41:33.531+05:302009-09-28T18:41:33.531+05:30अंत:दृष्टा जो हैं हमअंत:दृष्टा जो हैं हमKajal Kumar's Cartoons काजल कुमार के कार्टूनhttps://www.blogger.com/profile/12838561353574058176noreply@blogger.com